भीमा कोरेगांव क्रांति शौर्य दिवस | Bheema Koregaon Shayari & Quotes | Koregaon Status

Bheema Koregaon Shayari: भीमा कोरेगांव क्रांति शौर्य दिवस हर साल 1 जनवरी को मनाया जाता है। यह दिवस भारत के इतिहास में समता, न्याय और संघर्ष के प्रतीक के रूप में जाना जाता है। 1 जनवरी 1818 को महाराष्ट्र के पुणे जिले के भीमा कोरेगांव गांव में एक ऐतिहासिक युद्ध हुआ था। दलित समाज के लोगों को इस घटना को जानना बहुत जरूरी है। यह दिन कोरेगांव के संघर्ष के विजय का दिन है, जिसमें सिर्फ 500 महार सैनिकों ने 28000 ब्राह्मणवादी पेशवाओं को धूल चटा दी थी। यह लड़ाई भीमा कोरेगांव में लड़ी गई थी।

यह युद्ध भारतीय समाज में दलित समुदाय की असाधारण वीरता और साहस का प्रतीक है। पेशवाओं के शासनकाल में दलितों के साथ भेदभाव और अत्याचार किए जाते थे। भीमा कोरेगांव की जीत ने इस अन्यायपूर्ण व्यवस्था को चुनौती दी।

एक और ‘ब्राह्मण’ राज बचाने के लिए ‘पेशवा’ थे तो दूसरी और ‘पेशवाओं’ के पशुवत ‘अत्याचारों’ का बदला लेने की फिराक में गुस्से से तमतमाई ‘महार’।

आखिरकार इस घमासान युद्ध में पेशवा की शर्मनाक पराजय हुई। 500 लड़ाको की छोटी सी महार सी ने हजारों सैनिकों के साथ 12 घंटे तक वीरता पूर्वक लड़ाई लड़ी। भेदभाव से पीड़ित अछूतों की इस युद्ध के प्रति दृढ़ता का अंदाज इसी से लगाया जा सकता है की महा रेजिमेंट के ज्यादातर सिपाही बिना पेट भर खाने और पानी के लड़ाई के पहले की रात 43 किलोमीटर पैदल चलकर युद्ध स्थल तक पहुंचे। यह वीरता की मिसाल है। इस युद्ध में मारे गए सैनिकों को श्रद्धांजलि देने के लिए चौकोर मीनार बनाया गया है। इस मीनार पर उन शहीदों के नाम खुदे हुए हैं, जो इस लड़ाई में मारे गए थे।

डॉ. भीमराव अंबेडकर ने इस युद्ध को दलितों के संघर्ष और स्वाभिमान का प्रतीक माना। 1927 में उन्होंने यहां का दौरा किया और इसे क्रांति का स्थल घोषित किया। आज यह स्थान दलित समाज के लिए प्रेरणा का केंद्र है।

भीमा कोरेगांव दिवस समानता, न्याय और मानवीय अधिकारों के लिए किए गए संघर्ष का स्मरण करता है। यह दिवस हमें प्रेरित करता है कि हम सामाजिक भेदभाव और असमानता के खिलाफ एकजुट होकर संघर्ष करें।

Bheema Koregaon par shayari

भीमा कोरेगाव
भीमा कोरेगाव

Read More:👉500+ पढ़ाई पर शायरी & कोट्स 

लड़ाई थी वह ‘आत्मसम्मान’ की,
प्रकाष्ठा थी वो सहनशीलता की,
जब 500 ने रौदा 28000 को,
वो कहानी है भीमा ‘कोरेगांव’ की।

“हर कदम पर लिखा गया है वीरता का नाम,
कोरेगांव की मिट्टी करती है साहस का सलाम।
इतिहास के पन्नों में अमर है जो नाम,
उनके बलिदानों को करते हैं हम प्रणाम।”

भीमा कोरेगांव की गाथा, इतिहास का सच सुनाओ,
शौर्य और बलिदान का, हर दिल में दीप जलाओ।

वीरों की माटी है ये, जहां संघर्ष है दिखता,
अधिकार की आवाज उठी, जो हर दिल को है छूता।

संघर्ष के उस मैदान में, हुआ था सत्य का उदय,
जहां दलितों ने दिखाया, अद्भुत साहस और विजय।

भीमा की ये धरती, जो हर अन्याय को ललकारे,
आज भी गूंजे हैं वहां, समानता के नारे।

इतिहास हमें सिखाता है, कि अन्याय से लड़ना है,
भीमा कोरेगांव की गाथा, हर पीढ़ी को पढ़ना है।

भीमा कोरेगांव क्रांति शौर्य दिवस

भीमा कोरेगाव
भीमा कोरेगाव

जब पानी सर से ऊपर,
जुल्मी जुल्म खाता है,
तब इतिहास खुद में,
भीमा कोरेगांव दोहराता है।

जब-जब जुल्म की आधी लेकर, मनुवाद आएगा,
भीमराव का हर एक बच्चा कोरेगांव दोहराएगा।

हर साल रहता है उसे दिन का इंतजार,
भीमा कोरेगांव का युद्ध था बड़ा ही खूंखार,
हुई थी पेशवाई की हर,
क्योंकि जिन से लड़े थे वो 500 महार ।

विचारों से लड़ाई होगी, तो याद करेंगे हम भीमराव,
लड़ाई ताकत से होगी, तो दोहराएंगे भीमा कोरेगांव।

भीमा कोरेगांव स्टेटस

भीमा कोरेगाव
भीमा कोरेगाव

जला था ज्योति का दीया, भेदभाव का अंधेरा मिटा।
भीमा कोरेगांव की धरती ने इतिहास नया लिखा।

जिसने झुका दी अत्याचार की दीवार,
वो भीमा कोरेगांव का रण था बेमिसाल।

साहस की गाथा, वीरता की पहचान,
भीमा कोरेगांव है देश की शान।

ना झुके थे, ना रुके थे, रण के वीर बलवान।
भीमा कोरेगांव की माटी में है अद्भुत मान।

धर्म और जाति के भेद को तोड़ दिया,
भीमा कोरेगांव ने स्वाभिमान का पथ जोड़ दिया।

Bheema Koregaon Shayari


Read More👇:
999+ Life Shayari in hindi
Battle of Koregaon

Rate this post

Leave a Comment

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.